आज हिंदी दिवस है ,सभी को शुभकामनाएँ .हिन्दी को राष्ट्र भाषा बनाये जाने की मांग सबसे पहलेकिसी हिन्दी भाषी ने नहीं बल्कि एक गुजराती कवी ने की थी ये हमारे देश की एकता का सबसे बड़ा उदाहरण है .हम सब के लिए ये गर्व का विषय है कि जब पुरे देश में किसी एक भाषा को चुने जाने की बात आती है तो पुरे देश से हिन्दी को ही समर्थन मिलता है. राष्ट्र भाषा से आगे बढ़ते हुए आज हिन्दी अंतर्राष्ट्रीय भाषा बनने कीओर अग्रसर है.ऑक्सफोर्ड डिक्शनरी हिन्दी के कई शब्दों को अपने कोष में शामिल कर चुकी है. हम सभी ब्लॉगर भी अपनी भाषा को नए आयाम देने में और समृद्ध करने में लगे हैं.चलते चलते भारतेंदु जी की इन पंक्तियों कोयाद कर लेते हैं "निज भाषा उन्नति अहै सब उन्नति को मूल " सच है अपनी भाषा में ज्ञान-विज्ञानं होने से पूरेदेश की उन्नति आसवानी से हो सकती है.
3 टिप्पणियां:
सच कहा आपने
sunder lekhan hindi diwas par.
पहली बार आई ब्लॉग पर...अच्छा लगा. हिंदी पर बहुत सुन्दर पोस्ट ...बधाई.
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'पाखी की दुनिया' में आपका स्वागत है.
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